September 20, 2024

राज्य सरकार ने महिलाओं को शिक्षा के क्षेत्र में 50 प्रतिशत आरक्षण दिया – मंत्री डॉ. शाह

भोपाल

सफल लोग कोई अलग काम नहीं करते, बल्कि वे उस काम को अलग ढंग से करते हैं। शिक्षिका सुनीतू ठाकुर ने झुम्मरखाली स्कूल में शैक्षणिक वातावरण को बेहतर बनाकर इसका स्वरूप ही बदल दिया है। इसी के लिए इन्हें राज्यस्तरीय शिक्षक सम्मान के लिए चयनित किया गया है। जनजातीय कार्य, लोक परिसम्पत्ति प्रबंधन तथा भोपाल गैस त्रासदी राहत एवं पुनर्वास मंत्री डॉ. कुंवर विजय शाह ने गुरूवार को खण्डवा में शिक्षक दिवस सम्मान समारोह में बतौर मुख्य अतिथि यह उद्गार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने महिलाओं को शिक्षा के क्षेत्र में 50 प्रतिशत आरक्षण दिया है।

मंत्री डॉ. शाह ने जनजातीय कार्य विभाग में शिक्षकों की कमी पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि हम ऐसी व्यवस्था कर रहे हैं कि जो शिक्षक 62 साल की उम्र में सेवानिवृत्त हो गए हैं, वे जनजातीय कार्य विभाग के स्कूलों में 65 वर्ष की उम्र तक पढ़ा सकेंगे। उन्होंने बताया कि इसके लिए शिक्षक का पिछले 5 वर्ष का रिकार्ड अच्छा होना चाहिए। इससे शिक्षकों की कमी दूर होगी और विद्यार्थियों को अच्छी शिक्षा मिल सकेगी। उन्होंने बताया कि गणित, विज्ञान, अंग्रेजी एवं खेल विषयों के लिए ऐसी व्यवस्था की जायेगी। इसके लिए पहले मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव से अनुमोदन लिया जायेगा। अनुमोदन मिलते ही हम इस दिशा में आगे बढ़ेंगे।

मंत्री डॉ. शाह ने कहा कि राज्य सरकार बालिकाओं को शिक्षा क्षेत्र में आगे बढ़ाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। शिक्षकों को खुद पर गर्व होना चाहिए, क्योंकि वे देश और समाज को शिक्षित व बेहतर बनाने के लिए कार्य कर रहे है। उन्होंने कहा कि अतिथियों का स्वागत बुके की जगह बुक से करना चाहिए।

कार्यक्रम को खण्डवा विधायक श्रीमती कंचन तनवे एवं महापौर श्रीमती अमृता यादव ने भी संबोधित किया। उन्होंने शिक्षकों के सम्मान में अपनी बात रखकर सभी को शिक्षक दिवस की शुभकामनाएं दीं।

कार्यक्रम का शुभारंभ डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन एवं माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलन कर किया।

कार्यक्रम में अतिथियों ने उत्कृष्ट कार्य करने वाले शिक्षकगणों को शॉल, श्रीफल देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में जिला पंचायत अध्यक्ष खंडवा श्रीमती पिंकी वानखेड़े सहित स्थानीय जनप्रतिनिधिगण, जिलधिकारी व बड़ी संख्या में शिक्षकगण मौजूद थे।